
जालंधर ब्रीज: मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह के नेतृत्व में मंत्रीमंडल द्वारा आज अनधिकृत कनैक्शनों को नियमित करने और जल आपूर्ति और सीवरेज के खर्चों के बकाए की वसूली के लिए एक मुश्त निपटारा नीति (ओटीएस) को मंज़ूरी दी गई है। इस कदम से लगभग 93,000 कनैक्शनों को नियमित किए जाने की उम्मीद है, जिससे शहरी स्थानीय संस्थाओं (यूएलबी) की आमदनी में वृद्धि होगी।
मुख्यमंत्री कार्यालय के एक प्रवक्ता के अनुसार घरेलू श्रेणी के अंतर्गत 125 वर्ग गज के प्लॉट के लिए जल आपूर्ति और सीवरेज कनैक्शन को नियमित करने के लिए एक बार की फीस के तौर पर 200 रुपए प्रति कनैकशन (जल आपूर्ति और सीवरेज के लिए 100-100 रुपए), 125 से 250 वर्ग गज के प्लॉट के लिए 500 रुपए प्रति कनैक्शन (जल आपूर्ति और सिवरेज के लिए 250-250 रुपए) और 250 वर्ग गज से अधिक के प्लॉट के लिए 1000 रुपए प्रति कनैक्शन (जल आपूर्ति और सीवरेज के लिए 500-500 रुपए) लिए जाएंगे। व्यापारिक/संस्थागत श्रेणी में, 250 वर्ग गज तक के प्लॉट के लिए 1000 रुपए प्रति कनैक्शन (जल आपूर्ति और सिवरेज के लिए 500-500 रुपए) और 250 वर्ग गज से अधिक के प्लॉट के लिए 2000 रुपए प्रति कनैक्शन (जल आपूर्ति और सीवरेज के लिए 1000-1000 रुपए) चार्ज किए जाएंगे।
यदि नोटीफिकेशन की तारीख के तीन महीनों के अंदर फीस जमा करवा दी जाती है तो कोई जुर्माना नहीं लगाया जाएगा। उन्होंने प्रयोक्ताओं के लिए जो इस समय के दौरान अपना कनैक्शन नियमित नहीं करवाते तो उनके कनैक्शन को नियमित करने के लिए उपरोक्त फीस पर 100 फ़ीसदी जुर्माना लगाया जाएगा। जो उपभोक्ता नोटीफिकेशन की तारीख से छह महीनों के अंदर अपना कनैक्शन नियमित नहीं करवाते, उनका कनैक्शन काट दिया जाएगा और बकाया उपभोक्ता खर्चों पर बनता जुर्माना और ब्याज लगाया जाएगा।
फीस जमा होने के बाद सडक़ खोदने, कनैक्शन फीस और सिक्योरिटी जैसे कोई अन्य खर्च नहीं लिए जाएंगे। पाईप की गुणवत्ता, कनैक्शन का आकार और वॉटर सप्लाई लाईन (सीवर लाईन के नीचे या आसपास नहीं) की सीध सम्बन्धी शहरी स्थानीय संस्थाओं के तकनीकी अधिकारी की संतुष्टी के उपरांत कनैक्शन नियमित किया जाएगा। यदि नोटीफिकेशन जारी होने की तारीख़ से तीन महीनों की समय सीमा के अंदर नोटीफिकेशन की तारीख़ पर भुगतान योग्य मूल रकम अदा की जाती है तो वॉटर सप्लाई और सीवरेज चार्ज/टैक्स/फीस के बकाए पर कोई ब्याज और जुर्माना नहीं लगाया जाएगा।
इसके साथ ही यदि कोई बकाए और ब्याज की मूल रकम 3 महीनों बाद परन्तु इस नोटीफिकेशन के जारी होने की तारीख़ से 6 महीनों के अंदर अदा की जाती है तो कोई जुर्माना नहीं लगाया जाएगा। इस नोटीफिकेशन के जारी होने की तारीख़ से 6 महीनों के अंदर बकाए जमा न कराने पर शहरी स्थानीय संस्थाओं द्वारा कनैक्शन काटने के अलावा बनता ब्याज और जुर्माना लगाया जाएगा। यह स्पष्ट किया जाता है कि बकाए का मतलब सिफऱ् जल आपूर्ति और सीवरेज खर्चों की मूल रकम है।
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