
जालंधर ब्रीज: कैंसर रोगियों को निःशुल्क और घर के पास ही कीमोथेरेपी सुविधाएँ प्रदान करने के उद्देश्य से, पंजाब के बागवानी, स्वतंत्रता सेनानी और रक्षा सेवाए कल्याण मंत्री मोहिंदर भगत ने आज शहीद बाबू लाभ सिंह सिविल अस्पताल में डे केयर कैंसर कीमोथेरेपी सेंटर का शुभारंभ किया।
इस दौरान कैबिनेट मंत्री ने कहा कि सिविल अस्पताल में इस सुविधा के खुलने से कैंसर रोगियों को बहुत लाभ होगा, जिन्हें पहले इलाज के लिए चंडीगढ़ और अमृतसर जाना पड़ता था। उन्होंने कहा कि इस केंद्र के खुलने से कैंसर रोगियों की स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के साथ-साथ आर्थिक तंगी भी कम होगी। इस अवसर पर हलका प्रभारी नितिन कोहली और सिविल सर्जन डा. गुरमीत लाल भी उपस्थित थे।

भगत ने बताया कि इस 8-बेड वाले डे केयर कैंसर कीमोथेरेपी सेंटर में दवाइयों, ऑक्सीजन समेत सभी ज़रूरी सुविधाएँ मौजूद है और कैंसर मरीज़ अब सिविल अस्पताल में ऑन्कोलॉजी विशेषज्ञ डॉक्टर की देखरेख में मुफ़्त कीमोथेरेपी की सुविधा प्राप्त कर सकते है। उन्होंने सेंटर में भर्ती मरीज़ों से बातचीत भी की और उनका हालचाल जाना।
कैबिनेट मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार राज्य के लोगों को उच्च-गुणवत्ता वाली स्वास्थ्य सेवाएँ प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है और इसी वचनबद्धता के तहत राज्य सरकार सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों को और मज़बूत कर रही है।
गौरतलब है कि सिविल अस्पताल जालंधर, बठिंडा के बाद डे केयर कैंसर कीमोथेरेपी सेंटर वाला पंजाब का दूसरा ज़िला अस्पताल बन गया है।
इससे पहले, भगत ने सिविल अस्पताल में रोगी कल्याण समिति की तिमाही बैठक की अध्यक्षता करते हुए स्वास्थ्य अधिकारियों को सिविल अस्पताल में आने वाले मरीज़ों को और भी बेहतर ढंग से स्वास्थ्य सेवाएँ प्रदान करने के निर्देश दिए।
समिति की बैठक के दौरान सिविल अस्पताल में सीवरेज पाइपलाइन, बाथरूम की मुरम्मत, सुरक्षा गार्ड बढ़ाने, सफ़ाई आदि कार्यों पर विस्तार से चर्चा की गई। कैबिनेट मंत्री ने बताया कि सिविल अस्पताल में सफाई संबंधी काम पहले ही शुरू हो चुका है और सीवरेज व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए जल्द ही एक प्रोजेक्ट शुरू किया जा रहा है।
कैबिनेट मंत्री ने सिविल अस्पताल की सूरत बदलने के लिए पंजाब सरकार की प्रतिबद्धता भी दोहराई। उन्होंने सिविल अस्पताल के पास बन रहे क्रिटिकल केयर यूनिट के चल रहे काम का जायज़ा लिया। उन्होंने कहा कि इस प्रोजेक्ट के पूरा होने से गंभीर देखभाल की ज़रूरत वाले मरीज़ों को निजी अस्पतालों में महंगे इलाज से राहत मिलेगी।
इस दौरान मेडिकल सुपरडेंट डा. राजकुमार, डा.जसविंदर सिंह, डा.रमन गुप्ता, एस.एम.ओ. डा. सुरजीत सिंह, डा. सतिंदर बजाज, डा. प्रभशरण कौर, विभिन्न विभागों के अधिकारी और समिति के सदस्य मौजूद थे।
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